
मारपीट के मामले में तीन दिन पहले भेजा गया था जेल
NALANDA :- बिहार शरीफ मंडल कारा में बंद विचाराधीन एक कैदी की शनिवार को सदर अस्पताल में मौत हो गई। मृतक नवादा जिले के कौआकोल थाना इलाके के जोराबरडीह निवासी वीरेंद्र मंडल का पुत्र राहुल कुमार है । तीन दिन पूर्व नालंदा जिले के सरमेरा थाना पुलिस मारपीट के मामले में गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेजी थी । जहां से उसे जेल भेज दिया गया था । बिहारशरीफ मंडल कारा के जेल अधीक्षक प्रभात कुमार ने बताया कि
कैदी का दिमागी संतुलन ठीक नहीं था और उसकी दवा भी चल रही थी। वार्ड में रह रह कर वह उग्र हो जाता था। शनिवार की सुबह वह अपने वार्ड में बेहोशी की हालत में पाया गया । जिसके बाद बिहारशरीफ सदर अस्पताल लाया गया था । जहां चिकित्सक ने इलाज के दौरान मृत घोषित कर दिया । मृतक के पिता वीरेंद्र मंडल ने बताया कि सरमेरा थाना क्षेत्र के इसुआ गांव में उनका ससुराल है जहां उनका साला गोपाल महतो की पुत्री का शादी था । इसी सिलसिले में उनका पुत्र ननिहाल आया हुआ था । इसी दौरान लोगों ने सूचना दिया कि मारपीट के मामले में पुलिस उनके पुत्र को पकड़कर जेल भेज दी है। उनका आरोप है जिनलोगों के द्वारा एफआईआर दर्ज कराई गई है उन लोगों ने आम तोड़ने का आरोप लगाकर बेरहमी से पिटाई करने के बाद पुलिस के हवाले कर दिया था। उनका पुत्र कोलकाता के आगड़पाड़ा इंजीनियरिंग कॉलेज में बीटेक सेकंड ईयर की पढ़ाई करता था।
सूचना पाकर सदर अस्पताल पहुंचे परिजन युवक के शरीर पर जख्म के निशान देखकर आग बबूला हो गए और पूछने पर मंडलकारा के कंपाउंडर ने जब मारपीट की घटना से इंकार कर दिया तो परिजन उसके साथ मारपीट करने लगे हालांकि पुलिस पदाधिकारी ने छुड़ा कर भगा दिया । युवक के शरीर पर जिस तरह से पिटाई के जख्म के निशान हैं उसे देख साफ जाहिर होता है कि उसके साथ बेरहमी से पिटाई की गई है । सदर डीएसपी डॉक्टर शिब्ली नोमानी की माने तो युवक के साथ किसी ने मारपीट नहीं किया था वहीं जेल अधीक्षक ने भी मारपीट की बात से इनकार कर रहे हैं । ऐसे में युवक के शरीर पर जख्म के निशान कहां से आए यह तो जांच की विषय है। 10 मई को पुलिस एफआईआर दर्ज करती है और उसी दिन बिना जांच किए युवक को न्यायिक हिरासत में भेज दिया ।