नालंदा :- नहाय खाय के साथ आज से लोक आस्था का महापर्व चैती छठ शुरू हो गया । छठ व्रती माताओं ने पवित्र नदी या तालाब में स्नान कर भगवान भास्कर की पूजा अर्चना के बाद दाल कद्दू का प्रसाद बनाकर भगवान को भोग लगाने के बाद स्वयं ग्रहण कर अपने परिवार की सदस्य और इष्ट मित्रों को प्रसाद खिलाया । सबसे ज्यादा भीड़ सूर्यनगरी बड़गांव में देखने को मिल रही है। देश विदेश के लोग यहां आकर चार दिनों तक प्रवास कर छठ महापर्व को करते हैं । ऐसी मान्यता है कि बड़गांव में भगवान श्री कृष्ण के पौत्र राजा शाम्य भगवान भास्कर की अराधना किए थे । इस कारण उन्हें कुष्ठरोग से मुक्ति मिली थी । श्रापित होने के कारण उन्हें कुष्ट रोग हो गया था । साधु संतो ने भगवान भास्कर के 12 अर्को पूजा करने के लिए कहा था । भ्रमण के दौरान उन्होनें बड़गांव छठ घाट तालाब में स्नान कर भगवान भास्कर की पूजा अर्चना किए तब उनका शरीर कंचन हो गया । तब से कार्तिक और चैत माह में होने वाले छठ महापर्व में लोगों की भीड़ यहां उड़ती है । दूसरे दूसरे राज्यों से लोग यहां आकर चार दिनों तक प्रवास कर श्रद्धा के साथ छठ महापर्व करती हैं । इसी तरह औंगरी धाम में भी छ्तवर्तियों ने भगवान भास्कर की पूजा अर्चना की । जिला प्रशासन द्वारा सभी छठ घाट पर सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए हैं।